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सोलन; क्षेत्रीय अस्पताल सोलन में एक बेड पर दो मरीजों का चल रहा उपचार

सोलन। क्षेत्रीय अस्पताल में इन दिनों वार्डों में भर्ती होने वाले मरीजों की संख्या बढ़ते हाल खराब होने शुरू हो गए हैं। वार्ड में एक ही बिस्तर पर दो मरीजों का उपचार किया जा रहा है। शिशु रोग ओपीडी के बाद अब मेडिसिन ओपीडी में मरीजों की संख्या बढ़ी है। अधिकतर मरीजों में बुखार, दस्त, पेट खराब, उल्टी समेत टायफाइड जैसे लक्षण है। तबीयत अधिक बिगड़ने पर ओपीडी से मरीजों को वार्ड में भर्ती कर रहे हैं। हालात ये हो गए है कि मरीजों की संख्या बढ़ जाने से बेड भी कम पड़ने लगे हैं। अस्पताल में रोजाना 17 मरीज गंभीर रूप से पहुंच रहे हैं।। लगातार बढ़ रही मरीजों की संख्या को देखते हुए जिला स्वास्थ्य विभाग ने एडवाइजरी जारी की है। लोगों को साफ और स्वच्छ पानी पीने का आग्रह किया है। वहीं, क्षेत्रीय अस्पताल सोलन में पहले शिशु रोग ओपीडी के बाहर मरीजों की कतारें देखने को मिल रही थी। अब मेडिसिन ओपीडी के बाहर भी लंबी लाइनें लग रही है। इससे क्षेत्रीय अस्पताल की ओपीडी 450 से पार हो चुकी है। इन दिनों केवल टायफाइड जैसे लक्षणों की शिकायत लेकर मरीज अस्पताल पहुंच रहे हैं। कुछेक चिकित्सक की सलाह लेने के बाद दवा लेकर जा रहे हैं। कुछ मरीजों की हालत को देखते हुए भर्ती किया जा रहा है ताकि चिकित्सकों की देखरेख में उपचार किया जा सके। अस्पताल में जिला सोलन के ही नहीं बल्कि सिरमौर और शिमला के कुछ क्षेत्रों से उपचार करवा रहे हैं।

संक्रमण का बढ़ गया खतरा
क्षेत्रीय अस्पताल के बिस्तरों पर दो-दो मरीज होने से संक्रमण होने का खतरा बढ़ गया है। ऐसे में तीमारदारों को अपने मरीजों की चिंता सताती है। अधिकतर हालत खराब महिला मेडिसिन वार्ड में है। यहां पर एक ही बेड पर दो-दो महिलाओं का उपचार करने में चिकित्सक मजबूर है। वहीं, तीमारदारों की भी वार्ड में भीड़ रहने से दिक्कतें आ रही है।

कैसे होता है टायफाइड
टायफाइड बुखार साल्मोनेला टाइफी नामक जीवाणु के कारण होने वाली बीमारी है। यह छोटी आंत को संक्रमित करता है। टायफाइड बुखार को एंटरिक बुखार भी है। यह दूषित भोजन या पानी के माध्यम से फैलता है।

इन दिनों मेडिसिन ओपीडी में बुखार, दस्त और उल्टी के मामले आ रहे हैं। लक्षण टायफाइड जैसे लग रहे हैं। वार्ड में भर्ती कर मरीजों का उपचार किया जा रहा है। लोगों से आग्रह है कि इन दिनों सेहत का खास ध्यान रखें। दूषित पानी का सेवन न करें और हाथ धोकर ही खाद्य पदार्थों का सेवन करें।

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